*693 क्या ने देख दीवाना रे ।।

क्या ने देख दीवाना हुआ रे।।

पांच तत्व का बना यो पिंजरा, ता में मनवा सुआ रे।।

मात पिता तेरा कुटुंब कबीला, बहन भांजी बुआ रे।।

टूटजागा पिंजरा बिखर जांगी ताड़ी, उड़जागा मनवासुआ रे ।

कहत कबीर सुनो भई साधो, जीत चलो जग जुआ रे।।

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