* 1305 बाबा कबीर गुरु पूरा है।।
बाबा कबीर गुरु पूरा है।।
पूरे गुरु कीमैं जाऊं बलिहारी, जा का सकल जहूरा रहा है।।
सब ही में व्यापक सबसेही न्यारा, हरदम रहत अधूरा है।।
श्वेत ध्वजा फहराई गगन में, हो बाजे अनहद तुरा है।।
नाम कबीर जपे वह नर सूरा, वो नानक चरण की धूरा है।।
Comments
Post a Comment